Sunday 4 August 2013

फ्रेंडशिप डे: जज्बात बयां करने का दिन

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girls with our friends
भारत सहित दुनिया के कई देशों में अगस्त का पहला इतवार फ्रेंडशिप डे के लिए तय किया गया है। इस बार यह मौका चार अगस्त को आ रहा है। तो इ स खास दिन को अपने दोस्तों के साथ कैसे यादगार बना रहे हैं आप? क्या अभी तक आपने ये तय नहीं किया? तो चलिए हम आपको बताते हैं कि कैसे आप दोस्तों के साथ दोस्ती के इस खास दिन का लुत्फ उठा सकते हैं, वह भी आधुनिक तरीके से, बता रही हैं सरोज मल्होत्रा
दोस्ती कहने को तो सिर्फ एक शब्द है, लेकिन इस एक शब्द के कई रंग, कई रूप मौजूद हैं। मौज, मस्ती, हंसी, मजाक, आजादी, अपनापन, दुख, आंसू, सहारा और भी न जाने क्या-क्या। दोस्ती का हर रंग, हर रूप एक मखमली एहसास से भर देता है। यह दिल को एक अनकहा सुकून देने वाला होता है। दोस्त के बिना जिंदगी अधूरी
एक पुरानी अंग्रेजी कहावत है, ‘अगर जिंदगी के अंत में आपके पास पांच दोस्त हैं, तो यकीन जानिए आपने एक शानदार जिंदगी जी है।’ यानी इनसान की दोस्ती ही तय करती है उसके जीवन की गहरायी। आईना होता है दोस्त
दोस्त तो आईने की तरह होता है, जिसके सामने आप सब कुछ कह सकते हैं, बेबाक, बेलाग लपेट। बिना सोचे समझे। दोस्त आपके शब्द नहीं, आपकी ‘भावनाओं को समझते हैं।’ कुछ यूं मनाइए फ्रेंडशिप डे का जश्न रूठे यार को मना लें
अगर आपका कोई दोस्त आपसे रूठ गया है, तो आज उसे मना लीजिए। फ्रेंड्स के बिना कैसा फ्रेंडशिप डे। छोटी-मोटी बातें तो होती ही रहती हैं। उन बातों को भुलाइए और हो सके तो एक बार फिर हाथ के साथ दिल भी मिला लीजिए। फिर देखिए, फ्रेंडशिप डे कैसा यादगार बन जाता है। एक पार्टी हो जाए
पार्टी का मकसद होता है अपने करीबी दोस्तों से मिलना। तो सब दोस्त मिलिए। एक दूसरे के साथ अच्छा वक्त बिताइए। तस्वीरें बनाएं मौके को यादगार
दोस्तों के साथ तस्वीरें खींचना न भूलें। ये तस्वीरें ताजिंदगी दोस्ती की यादों को ताजा बनाए रखने में मदद करती हैं। इन्हें फेसबुक, ट्विटर, वॉट्स अप जैसी साइट्स पर दोस्तों के साथ साझा भी किया जा सकता है। स्क्रैपबुक पर अनकही बातें
स्क्रैपबुक पर दोस्तों के बारे में कुछ कहना और उनके दिल की बातें जानने का इससे अच्छा मौका दूसरा हो ही नहीं सकता। जानिए आखिर आप सब एक-दूसरे के बारे में क्या सोचते हैं। इंटरनेट की दुनिया में मनाइए अपनी फ्रेंडशिप का सालाना जश्न
आज की दुनिया कंप्यूटर पर सिमटी है। जब तक फेसबुक पर किसी के जन्मदिन की तारीख न देख लें, हमें इस बारे में याद ही नहीं आता। वर्चुअल वर्ल्ड ने हमारी दुनिया को इस कदर अपने भीतर समेट लिया है कि यूं लगता है जैसे हर रिश्ता बस यहीं से होकर गुजरता है। तो फिर फ्रेंडशिप डे भला इससे कैसे अछूता रह सकता है। इसलिए सोशल वेबसाइट्स पर भी आप दोस्तों को शुभकामनाएं दे सकते हैं। चार यार मिल जाएं तो..
जहां यार मिल जाएं, वहीं रात गुलजार हो जाती है। तो क्यों न दोस्तों के लिए एक ग्रुप बना लिया जाए। अच्छे दोस्तों से सम्पर्क बनाए रखने का यह शानदार आइडिया है। और इसके लिए आपको कंप्यूटर पर भी जाने की जरूरत नहीं। ‘वॉट्स अप’ और ‘वी चैट्स’ जैसी मोबाइल एप्लिकेशन जो हैं, जो स्मार्टफोन के जरिए आप सभी दोस्तों को एक धागे में पिरो कर रख सकती हैं। तो फिर ग्रुप बनाने में देरी कैसी! क्यों न पुराने दोस्तों को तलाशा जाए
फेसबुक तो बिछुड़ों को मिलाने के लिए खोया-पाया विभाग की तरह हो गया है। कितने ही लोग कह उठते हैं, ‘कब के बिछुड़े हुए हम आज यहां आके मिले।’ तो आप क्यों इस मौके को छोड़ना चाह रहे हैं। तलाशिये अपने कुछ पुराने दोस्तों को। अब इसके लिए थोड़ी मेहनत तो करनी ही होगी। यूं ही थोड़े ही न दोस्त मिला करते हैं। किसी दूसरे की फ्रेंडलिस्ट खंगालिए, शायद जिसे आप तलाश रहे हैं, वो वहां मिल जाए। तलाशिये न कुछ ऐसे दोस्तों को, जिनके साथ जुड़ी हैं आपकी यादों की कडियां। तोहफा तोहफा तोहफा..
हालांकि दोस्तों में तोहफों की जरूरत नहीं पड़ती। यहां तो कई बार बोलने की जरूरत भी नहीं पड़ती, लेकिन जब ‘बिना खर्चे के चर्चे‘ हो रहे हों तो फ्रेंड्स, कतराना कैसा। हो सकता है यह हरकत आपको जरा बचकानी लगे, लेकिन यार, वर्चुअल फ्रेंडशिप बैंड्स और ग्रीटिंग्स आपके दोस्त के चेहरे पर मुस्कान तो ला ही सकती है। और फिर दोस्तों की खुशी से बढ़ कर कोई दूसरा गिफ्ट तो हो ही नहीं सकता। दोस्त की वॉल पर लिखें
आप चाहें तो अपने दोस्त की वॉल पर लिख कर बता सकते हैं कि वो कितना खास है आपके लिए। उसे लेकर आपके दिल में क्या भावनाएं हैं, कैसे आपकी जिंदगी उसके बिना अधूरी होती है? हो सकता है कि आपको ये सब करना थोड़ा अजीब लगे, लेकिन कई बार कह देना अच्छा रहता है। डूब जाएं दोस्ती के रंग में
आप नए-नए कॉलेज में गए हैं, पहली बार कुछ लोगों से आपकी मुलाकात और बात हुई है। तो क्यों न अपनी बात और मुलाकात से थोड़ा आगे बढ़ कर आप मिला लें हाथ। जी, कॉलेज के दोस्तों के तो अपने अलग ही रंग होते हैं। तो क्यों न आप भी डूब जाएं इस दोस्ती में। 27 जुलाई, 2011 को संयुक्त राष्ट्र की आम सभा की बैठक में 30 जुलाई को ‘इंटरनेशनल फ्रेंडशिप डे’ के तौर पर पहचान दी गई। इसके जरिये जीवन में दोस्ती के महत्व को दर्शाया गया। यह माना गया कि आदमी के जीवन में दोस्ती का कोई विकल्प नहीं है।

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